उत्तरकाशी – विशेषज्ञों की टीम द्वारा मानपुर के काश्तकारों को शहद उत्पादन की दी गयी महत्वपूर्ण जानकारी

Pahado Ki Goonj

विशेषज्ञों की टीम द्वारा मानपुर के काश्तकारों को शहद उत्पादन की दी गयी महत्वपूर्ण जानकारी ।।।        उत्तरकाशी -( मदनपैन्यूली )                              उत्तराखण्ड के सीमावर्ती जनपद उत्तरकाशी में बद्रीनाथ-केदारनाथ के यात्रा मार्ग पर सुरम्य पहाड़ियों में स्थित ग्राम- मानपुर व्यवसायिक दृष्टि से अपना महत्वपूर्ण स्थान रखता है। जिलाधिकारी मयूर दीक्षित अथक के अथक प्रयासों से एकीकृत आजीविका सहयोग परियोजना के अंतर्गत गठित हरिमहाराज आजीविका स्वायत्त सहकारिता मानपुर में गाँव के 109 परिवार शेयरधारक के रूप में जुड़कर अपनी आजीविका को निरंतर बढ़ा रहे है।

उक्त गाँव में एकीकृत आजीविका सहयोग परियोजना द्वारा वित्त पाषित मौनपालन योजना ए॰टी॰आई॰ के माध्यम से संचालित की जा रही है। जिसमें
मानपुर के 109 परिवारों में से 55 परिवार पहले से ही जुड़कर मौनपालन का कार्य कर रहे हैं।

जिलाधिकारी श्री दीक्षित के कुशल नेतृत्व में स्थानीय लोगों द्वारा मौनपालन के कार्य को और अधिक बढाये जाने की इच्छा जाहिर रही है l

उक्त कार्य हेतु जिलाधिकारी द्वारा इस गाँव की वस्तुस्थिति व ग्रामीणों का मौनपालन के
प्रति लगाव को देखते हुये मानपुर गाँव को माॅडल रूप में स्थापित कर मौनपालन व्यवसाय का प्रसार करने की योजना बनाई गयी है।

उक्त योजना के तहत हरिमहाराज आजीविका स्वायत्त सहकारिता के ग्राम मानपुर के 50 प्रतिशत परिवारों की दिसम्बर, 2021 तक मौनपालन के माध्यम से वार्षिक आय में 30 प्रतिशत अतिरिक्त आय के रूप में वृद्धि करने का लक्ष्य रखा गया है।

इस क्रम में वर्तमान में 261 परिवारों में से 92 परिवारों को मौनपालन गतिविधि से जोड़ा जा चुका है।

आगामी समय में शेष परिवारों को भी जोड़ा जायेगा। ग्राम मानपुर में निवास करने वाले 261 परिवारों को मौनपालन आजीविका से जोड़कर मानपुर गाँव को माॅडल रूप में स्थापित करना तथा मानपुर “हनी विलेज” योजना के माध्यम से जनपद को मौनपालन में विशेष दर्जा देने का लक्ष्य स्थापित किया गया है।

उक्त कार्य हेतु ग्रामीणों को प्रशिक्षण, बी॰बाक्स, बी॰ कालोनी उपलब्ध करायी जा रही है l तथा शहद की मार्केटिंग हिलाॅस ब्रांड के अंतर्गत किये जाने की योजना बनाई जा रही है।

उक्त कार्य के माध्यम से ग्रामीण रू0 14,000 तक की अतिरिक्त वार्षिक आय रू॰14,000 प्राप्त कर सकेंगे।

मौनपालन कार्य से खेती पर भी अनकूल प्रभाव पड़ेगा तथा मधुमक्खी के प्रांगण से
फसलों में वृद्धि होगी। मानपुर गाँव निवासी श्री शूरवीर सिंह भण्डारी ने बताया कि उनके द्वारा सन् 1972 से मौनपालन का कार्य किया जा रहा है और अन्य ग्रामीणों भी उनसे प्रेरणा लेकर मौनपालन का कार्य कर रहें है।

स्थानीय स्तर पर ही नहीं बल्कि जिला व राज्य स्तर पर भी मानपुर के शुद्ध शहद की माँग को पूरा किया जायेगा। जिससे स्थानीय लोंगो की आय में वृद्धि होगी।

प्रभागीय परियोजना प्रबन्धक, उत्तराखण्ड ग्राम्य विकास समिति कपिल उपाध्याय
ने बताया कि उत्पादित शहद की बिक्री आॅन लाईन तथा आॅफ लाईन हिलाॅस ब्रांड के अंतर्गत किये जाने की योजना तैयार की जा रही है I जिससे उत्पादकों को बेहतर दाम मिल सके ।

मानपुर गाँव को माॅडल के रूप में विकसित किये जाने हेतु प्रभागीय परियोजना प्रबन्धक तथा विशेषज्ञों की टीम द्वारा ग्राम मानपुर का भ्रमण कर काश्तकारों को शहद उत्पादन की महत्वपूर्ण जानकारी प्रदान की गयी l

 

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