अब भारतीय फौज भी बेहद कम समय में आकस्मिक युद्ध जैसी परिस्थिति से निपटने के लिए भी तैयार हो जाएगी। ऐसा इसलिए कहा जा रहा है कि पिछले 2 से तीन महीनों में भारत ने कई रक्षा सौदे किये हैं। इन सौदों की वजह से इंडियन आर्मी बेहद शॉर्ट नोटिस पर भी अपने फाइटर्स, टैंक्स को युद्ध के लिए तैयार हो जाएंगे। एक अंग्रेजी अखबार की वेबसाइट पर चल रही खबर के मुताबिक, पिछले 2 से 3 महीनों में सरकार ने गोला-बारूद समेत अन्य युद्ध सामग्री से जुड़ी 20 हजार करोड़ रुपये की इमर्जेंसी डील्स फाइनल कर दी हैं। अखबार ने रक्षा मंत्रालय के सूत्रों के मुताबिक बताया है कि इसके पीछे उद्देश्य यह तय करना है कि भारतीय सेना गोला-बारूद की कमी के बिना कम से कम 10 दिनों तक कड़ी लड़ाई लड़ पाए। सरकार ने पिछले साल सितंबर में उड़ी में हुए आतंकी हमले के बाद रूस, इजरायल और फ्रांस के साथ नए करार तेजी से फाइनल किए हैं।