साईबर ठगों को फर्जी सिम कार्ड उपलब्ध कराने वाला शातिर गिरफ्तार ।
देश-विदेशों में 20 हजार से ज्यादा सिम कार्ड करा चुका है उपलब्ध ।
देहरादून।
साईबर ठगों को फर्जी सिम कार्ड उपलब्ध कराने वाले एक शातिर को एसटीएफ की साईबर थाना पुलिस ने हरिद्वार से गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी अब तक देश विदेशों में साईबर ठगों को 20 हजार से ज्यादा सिम कार्ड उपलब्ध करा चुका है। जिसके कब्जे से 1816 सिम कार्डस, दो चेक बुक, 5 मोबाइल फोन व 2 बायोमैट्रिक डिवाइस भी बरामद की गयी है।
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक एसटीएफ नवनीत सिंह द्वारा बताया गया कि माह अप्रैल-2024 में माजरी माफी मोहकमपुर देहरादून निवासी एक शिकायतकर्ता की तहरीर के आधार पर थाना नेहरु कॉलोनी पर दर्ज मुकदमे की विवेचना एसटीएफ/साइबर क्राईम पुलिस स्टेशन को प्राप्त हुई थी जिसमें पीडित द्वारा बताया गया कि वह पिछले 8 महीने से फेसबुक पर कल्याणी निवासी चेन्नई नामक फेसबुक फ्रैण्ड के सम्पर्क में था जिसके द्वारा मेटल एडवाइजर का कार्य करना बताया गया था और वह किसी वेबसाईट पर लोगों को पैसा इन्वेस्ट कर तीनगुना मुनाफा कमाने को कहती थी। उसके द्वारा फेसबुक पर कई ऐसी चैट के स्क्रीनशॉट डाले गये थे जिसमें लोगों ने तीन गुना फायदा होने की बात स्वीकार की थी। जिस पर उसके द्वारा खुद भी इन्वेस्टमेण्ट करने का फैसला किया गया। जिस पर कल्याणी ने बताया कि कैसे उसे उस वेबसाइट पर अपना यूजर आईडी बनाना है और भी क्या-क्या करना है फिर एक प्रोग्रामर का व्हाट्सएप नम्बर दिया गया। जिन पर विश्वास कर वह उनके बताये अनुसार वैसाकृवैसा करता गया और सबसे पहले 10,000 रुपये इन्वेस्ट किये जिसका मुनाफा 2 दिन के अन्दर कुल रुपये 23,776 उसके बैंक अकाउण्ट में आ गये। उसके बाद उसने 25 हजार रुपये इन्वेस्ट किये तो बताया कि मैनेजमेंट के द्वारा लिमिट मिनिमम 50 हजार रूपये कर दिये हैं जिसके लिये आपको 25 हजार रुपये और इन्वेस्ट करने होंगे नहीं तो पहले के 25 हजार भी नहीं निकाल पाओगे। उसके द्वारा 25 हजार का नुकसान बचाने के लिये और 25 हजार रुपये उनके बताये गये खाते में इन्वेस्ट हेतु जमा कर दिये गये किन्तु उनके द्वारा पुनः पॉलिसी बदलने की बात कहकर और एक लाख रुपया जमा करने को कहा गया। शक होने पर जब उसके द्वारा साइबर क्राईम को रिपोर्ट करने की बात कही तो उसका नम्बर ब्लॉक कर दिया गया। मामले में साइबर थाना पुलिस ने जांच शुरू कर दी गयी तथा घटना में प्रयुक्त बैंक खातोंध्मोबाइल नम्बरों को खंगाला गया। जिस पर पता चला कि इस कांड के मास्टर मांइड द्वारा सरकारी स्कीम के तहत कप का सेट देने की बात कहकर लोगों के आधार कार्ड, फोटो व एक मशीन पर अंगूठे का निशान लिया था व उन्हें धोखे में रखकर उनकी आईडी पर सिम कार्ड निकलवाया गया है। जिस पर मास्टर माइंड की तलाश शुरू की गयी। जिसे साइबर थाना पुलिस ने हरिद्वार के मंगलौर से गिरफ्तार कर लिया है। जिसके कब्जे से 1816 सिम कार्डस, दो चैक बुक, 5 मोबाइल व 2 बायोमैट्रिक डिवाइस बरामद हुई। एसटीएफ द्वारा मोबाइल नंबरों का विश्लेषण करने के लिए आई4सी, गृह मंत्रालय के साथ समन्वय किया और पूरे भारत में कई आपराधिक शिकायतें मिलीं।
गिरफ्तार आरोपी द्वारा पूछताछ में बताया गया कि उसके द्वारा अपने कस्बे की कई महिलाओं को फर्जी सरकारी स्कीम अथवा कंपनी को ओर से कप का सेट देने का लालच देकर उनके आधार कार्ड आदि दस्तावेज व बायोमैट्रिक प्राप्त करके उन महिलाओं की आईडी पर फर्जी तरीके से धोखा देकर सिमकार्ड प्राप्त किये गये हैं और इन सिम कार्ड को विदेशों में भी साइबर ठगो को भेजा गया है।