देहरादून। उत्तरांचल पंजाबी महासभा ने सरकार में पंजाबी समुदाय को कोई स्थान न दिये जाने पर मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत को ज्ञापन प्रेषित किया है।
इस ज्ञापन के माध्यम से कहा गया है कि उत्तराखण्ड के विकास में पंजाबी समुदाय का पूर्ण योगदान रहा है। पंजाबी कोई जात नहीं है बल्कि देश की विभिन्न संस्कृतियों से भरपूर हैं। देशसेवा के लिए जनसंघ के समय से सेवा भावना से भाजपा से जुड़े हुए हैं लेकिन आज इस समाज को एक षड़यंत्र के तहत नजरअंदाज किया जा रहा है। जिससे उत्तराखण्ड का भाईचारा प्रभावित हो रहा है।
कहा कि पंजाबी समाज न केवल भारत में पूरे संसार में अपनी पहचान से जाना जाता है। देश विदेशों में हमारी सेवा तन मन धन से और देश के प्रति मर मिटने के लिए पंजाबी समाज सबसे आगे कार्य करता आ रहा है। कोरोना के समय पंजाबी समाज की हर जगह प्रशंसा होती आ रही है। पूरा देश हमारे सेवा की सराहना करता रहा है जैसे लंगर, पानी, सैनिटाइजर, गुरूद्वारा, मंदिर, मस्जिद, स्कूलों में, सैनिटाइजर कोरोना फंड (मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री) मे योगदान देते आ रहे हैं। आपदा में हमने अपने स्कूल, घर, मंदिर, गुरुद्वारा खोलकर हर स्थान पर जाकर लोगों की जरूरत की वस्तुए और राज्यपाल भवन में इलेक्ट्रॉनिक मीडिया, प्रिंटेड मीडिया इत्यादि को सम्मानित करना हमारा प्राथमिकता रही है।
उत्तराखंड में पंजाबी महासभा ने जोरों शोरो से हर पर्व मनाया हैं। हरेला पर्व कुमाऊं का पर्व होते हुए भी मुख्यमंत्री के निर्देश के अनुसार गढवाल क्षेत्र मे भी मनाया गया। पंजाबी समाज सरकार के साथ कंधे से कंधा मिलाकर सहयोग करता आ रहा है जिसमें उत्तराखंड बनने के बाद हर बार अल्पसंख्यक चेयरमैन पंजाबी समाज से बनता आ रहा है अब कि बार क्यु नहीं? पांच विधायक होते हुए भी सरकार किसी का भी सहयोग क्ंयू नहीं? आज हम इस विषय पर सोचने पर मजबूर है? हमारे सामने और भी विकल्प है कि हम सब आगे की राजनीति बनाय जो हमारी माँगे पूरे करे हम उनको सहयोग देकर उनकी सरकार बनने मे पूर्ण सहयोग करेंगे
कहा कि उत्तराखंड प्रदेश अध्यक्ष मदन कौशिक, उत्तराखंड प्रदेश प्रभारी दुष्यंत गौतम के संज्ञान में भी मंत्री मंडल से पहले अवगत करा दिया गया था। पंजाबी समाज जल्द ही मान्य प्रधानमंत्री , पार्टी अध्यक्ष नड्डा को भी मांग पत्र लिख रहे हैं कि हमारे साथ हर बार ही सौतेला व्यवहार क्यूं होता है? हम पूर्णतः एक बार नव नियुत्तफ मुख्यमंत्री तीरथ सिंह रावत से यह मांग करते हैं कि हमारा सरकार मे सहयोग होना अनिवार्य है अन्यथा पंजाबी समाज की सोच बदल सकती है उसका जो भी परिणाम होगा उसके उत्तरदायित्व मुख्यमंत्री और उत्तराखंड सरकार का होगा। ज्ञापन देने वालों में राजीव घई प्रदेश अध्यक्ष , जी. एस. आनंद प्रदेश संगठन मंत्री व गढवाल प्रभारी , एस. पी. कोचर, राम देव आनंद, वीरेन्द्र सिंह चड्डा, संजीव सिंह ग्रोवर, राज कुमार फूटेला, संजय तलवार, भारत भूषण चुग, राजीव परनामी, अशोक कुमार छाबड़ा, बलदेव जैसवाल आदि थे।