Jharkhand IAS Pooja Singhal झारखंड के आइएएस पूजा सिंघल के 25 ठिकानों पर प्रवर्तन निदेशालय की ताबड़तोड़ छापेमारी पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने बेबाक टिप्पणी की है। कहा कि यह गीड़ड भभकी है। भाजपा अगर सोचती है कि हमसे पार पा लेगी तो ऐसा नहीं है और न ही होगा।
आइएएस पूजा सिंघल के 25 ठिकानों पर छापेमारी से पूर्व भारत के गृह मंत्री अमित शाह के कान पर पीछे से गुप्त गू करते हुए।यह बॉडी लैंग्वेज का अर्थ जनता समझ सकते है कि नोकर साह की पहुंच गलत तो गलत ही है ।मुलाकात का कोई अर्थ नहीं है।
Jharkhand IAS Pooja Singhal: आइएएस पूजा सिंघल के 25 ठिकानों पर छापेमारी को मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने गीड़ड भभकी कहा।
रांची, Jharkhand IAS Pooja Singhal झारखंड में कोहराम मचा है। पहले ही झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को अपने नाम पर खदान लीज लेने के मामले में अयोग्यता की संभावित कार्रवाई के लिए चुनाव आयोग का नोटिस मिलने से माहौल गर्म है। अब राज्य की खनन और उद्योग सचिव आइएएस पूजा सिंघल के 25 ठिकानों पर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की ताबड़तोड़ छापेमारी से राजनीतिक भूचाल आ गया है। हर किसी के जबान पर सीएम की लड़खड़ाती कुर्सी और पावरफुल अफसर पूजा सिंघल के ही चर्चे हैं। जितना मुंह उतनी बातें हो रही है। तिस पर भाजपा, झामुमो और कांग्रेस के सियासी बयानों से सत्ता के अंदर-बाहर हर जगह घमासान मचा है।
Jharkhand: आदरणीय रघुवर दास जी, संकट में हैं सोरेन… झामुमो और भाजपा में सियासी घमासान
पत्नी कल्पना सोरेन को 11 एकड़ सरकारी जमीन दिलाने, अपने नाम पर खनन पट्टा लेने आदि संगीन आरोपों से घिरे झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने ईडी की इस कार्रवाई को गीदड़ भभकी बताया है। उन्होंने इस तरह के छापे पर सवाल उठाते हुए कहा कि हम अपवाद नहीं हैं। भाजपा राजनीति की जो परिभाषा गढ़ना चाह रही है, यह किसी सूरत में स्वीकार्य नहीं है। हेमंत ने कहा कि अब पंचायतों में सरपंच और मुखिया की भी केंद्र सरकार ईडी से जांच कराने पहुंचेगी। उन्होंने सवाल उठाए कि जेपीएससी की सीबीआई जांच का आखिर क्या हुआ?
Hemant Soren: झारखंड में तूफान से पहले की खामोशी… बड़ा फैसला ले सकते हैं राज्यपाल रमेश बैस
बच्चों के खेल का उदाहरण देते हुए हेमंत ने समझाया कि जिस तरह क्रिकेट मैच में आउट होने पर बच्चा विकेट-बाल लेकर भाग जेता है। ठीक उसी तरह भाजपा राजनीतिक लड़ाई के मैदान में हारने पर अपनी मशीनरी का ‘सदुपयोग’ करने लगती है। बीजेपी को लगता है कि वह यह सब करके हमसे पार पा लेगी। तो ऐसा नहीं है और न ही आगे होगा।
चुनाव आयोग की त्वरित कार्रवाई पर हेमंत सोरेन ने कहा कि यह हमसे नहीं चुनाव आयोग से पूछना ही बेहतर होगा। इस देश में कानून है, संविधान का राज है। इसके खिलाफ जाने पर सबको परिणाम भुगतना पड़ता है। हेमंत ने कहा कि हम राज्य का अधिकार केंद्र सरकार से मांगते रहेंगे। अपना अधिकार हर हाल में लेकर रहेंगे। उन्होंने ईडी की छापेमारी और चुनाव आयोग की नोटिस की ओर इशारा करते हुए कहा कि जो हो रहा है, उसका परिणाम और उद्देश्य सबको पता है।