उत्तराखंड से अधिक है कांग्रेस शासित राज्यों मे विद्युत दरें, भ्रम न फैलाये कांग्रेस: चौहान
बन्द पड़ी विद्युत परियोजनाओं को शुरू कर भाजपा ने उठाये आत्म निर्भर की दिशा मे कदम
देहरादून 26 अप्रैल। भाजपा ने राज्य मे बिजली दरों के विरोध पर कांग्रेस को आइना दिखाते हुए कहा कि उसे भ्रम फैलाने के बजाय आत्म अवलोकन की जरूरत है, क्योकि आज भी कांग्रेस शासित सरकारों में बिजली दरें उत्तराखंड से अधिक हैं ।
प्रदेश मीडिया प्रभारी मनवीर सिंह चौहान ने कहा, कांग्रेस शासन में ऊर्जा प्रबंधन की अराजकता से भाजपा राज्य को बाहर लेकर आयी हैं और निर्बाध बिजली आपूर्ति की जा रही है । कांग्रेस सरकारों द्वारा दशकों से लटकाई बड़ी विद्युत परियोजनाओं को हमनें धरातल पर उतारा है और शीघ्र ही राज्य इन परियोजनाओं एवं सोलर योजनाओं को बढ़ावा देकर हम ऊर्जा क्षेत्र में राज्य को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा मे कार्य कर रहे हैं।
उन्होंने कांग्रेस के आरोपों को राजनीति से प्रेरित और सच से बहुत दूर बताते हुए कहा कि प्रत्येक वर्ष परिस्थितियों, उपलब्धता एवं खपत के अनुसार विद्युत नियामक आयोग, बिजली दरों को तय करता है । इस बार राज्य में पिछले वर्ष के मुकाबले विद्युत दर में कम वृद्धि की गई है, जो अन्य बहुत से राज्यों से अधिक नहीं है । जो कांग्रेस पार्टी अधिक दरों की बात कर रही हैं, स्वयं उनकी कर्नाटक, तेलांगना, झारखंड एवं अन्य राज्यों की सरकारों में अधिसंख्य उपभोगताओं को बिजली के इससे बहुत अधिक दाम चुकाने पड़ रहे हैं । लिहाजा उन्हे सबसे पहले अपनी सरकारों से अनुरोध कर बिजली के दामों को कम करवाना चाहिए ।
उन्होंने कहा कि उत्तराखंड मे सत्ता मे रहते कांग्रेस ने अपनी सरकारों में राज्य को ऊर्जा आत्मनिर्भरता के लिए कुछ नही किया, बल्कि सभी बड़ी विद्युत उत्पादन परियोजनाओं को लटकाए रखा । साथ ही कांग्रेस सरकारों ने ऊर्जा क्षेत्र में स्थापित विभिन्न राज्य इकाई के साथ हुए अनुबंध में गैरजिम्मेदाराना रवैया अपनाकर कुप्रबंधन को आगे बढ़ाया । लेकिन आज पीएम मोदी के मार्गदर्शन और सीएम धामी के मार्गदर्शन में दशकों से लंबित जमरानी, लखवाड व्यासी, किसाऊ बांध परियोजनाओं को धरातल पर उतारा है ।
हमे उम्मीद है कि आने वाले वर्षों में इनके पूरा होने से प्रदेश ऊर्जा के क्षेत्र में आत्मनिर्भर होगा । साथ ही पीएम सर्वोदय योजना में सोलर पैनलों के माध्यम से पारंपरिक बिजली पर आत्मनिर्भरता को कम करने में अवश्य सफल होंगे ।
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