पैन्यूली भाई ! भला पत्रकार समाज का दर्पण कैसे हुआ ? वह तो स्वयं विकृत हो चुका है। जहां तक मिशन का सवाल है तो आज सारी दुनिया जानती है कि चमचागिरी, ब्लेकमेलिंग और स्टिंगबाजी किसका मिशन है। राम कुमार के वालिया
[4/1, 7:42 AM] jeet mani painuli: जिस प्रकार विधायक महान भाव को सुभिधा जरूरत केलिये दी जा रही है उसी प्रकार पत्रकार को भवन,यात्रा ,मासिक वेतन, प्रोहत्साहन राशि सब मिलाकर 50000 रुपये माह तकदेने का काम सरकार कर दे तो वह समाज का दर्पण बना रहेगा और पत्रकारिता केलिये मिशन के रूप काम करेगा इसके अलावा समय पर सुभिधा बढ़ने का काम में रुकावट पैदा नकरे।अभी मेडिकल कॉलेज की फीस बढ़ोतरी की बात को मीडिया ने लिया तो वह कामयाब हो गया । ऐसे प्रयास केलिये हमें अपनी ऊर्जा का उपयोग कर समाज मे सम्मान से जीने केलिये अपने जीवन यापन करने के लिए आंदोलन केलिये तैयार रह कर कार्यक्रम जारी रखने चाहिए। उसमें उत्तराखंड पत्रकार संघटन समन्वय समिति का अभिनय अल्प प्रयास है इसे जारी रखा जायेगा।
[4/1, 7:53 AM] jeet mani painuli: आज पत्रकार के अधिकार पर कुछ बड़े अखबार के मजदूरों के गिरोह ने प्रेस क्लब पर कब्जा कर अपनी दुकान चलाने का काम करने वाले लोगों हैं बड़े पत्र के नाम से उनका नाम हो रहा सरकार भी नहीं चाहती कि इनमें एका हो यदि ऐसा होगया तो उसकी पोल पटी ही खुलेगी