मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने बुधवार को हरियाणा के गुरूग्राम में एस.जी.टी विश्वविद्यालय, बुधेरा में ‘‘राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 से राष्ट्र निर्माण’’ विषय पर आयोजित कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि इस विश्वविद्यालय की स्थापना श्री गुरू गोबिंद सिंह जी महाराज के नाम पर हुई। विश्विद्यालय ने शिक्षा जगत में किए गए अपने कार्यों द्वारा अपने इस नाम को चरितार्थ किया है। गुरु गोबिंद सिंह जी महाराज जहां एक ओर महान योद्धा थे वहीं दूसरी ओर वे अद्वितीय लेखक, विचारक और विश्व में आध्यात्मिक चेतना का पुनर्जागरण करने वाले विराट व्यक्तित्व भी थे। शौर्य, समर्पण और बलिदान से परिपूर्ण उनका जीवन न केवल भारतवासियों के लिए प्रेरणापुंज है बल्कि समस्त विश्व के लिए एक पाथेय का कार्य भी करता है। वे शिक्षा के प्रचार-प्रसार को विशेष महत्व दिया करते थे। उन्होंने कहा कि किसी भी देश के समन्वित विकास के लिए सबसे महत्त्वपूर्ण माध्यम शिक्षा है। शिक्षा से समाज में सकारात्मक बदलाव लाया जा सकता है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व और दिशा निर्देशन में तैयार की गई राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 में मनुष्य से मानवता तक और अतीत से आधुनिकता तक सभी बिंदुओं का समावेश है। नई शिक्षा नीति समय की मांग थी। उन्होंने कहा कि आजादी के अमृतकाल में नए भारत के निर्माण और सामर्थ्य को सार्थक करने में यह शिक्षा नीति अपनी प्रभावी भूमिका का निर्वहन करने में सफल होगी। नई शिक्षा नीति में मातृभाषा और क्षेत्रीय भाषाओं के प्रयोग पर विशेष बल दिया गया है। यह कदम जहां एक ओर देश के सर्वांगीण विकास हेतु सहायक सिद्ध होगा वहीं देश को एकता के एक सूत्र में पिरोने का कार्य भी करेगा। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में कौशल विकास अभियान के तहत ’’युवा भारत-नया भारत’’ से युवाओं को प्रोत्साहन मिला है। युवाओं को आत्मनिर्भर बनाने हेतु इस शिक्षा नीति में जो विशेष प्राविधान किए गए हैं वे “आत्मनिर्भर“ भारत के लिए नींव का पत्थर साबित होंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि एक शिक्षित और संस्कारी समाज के निर्माण में शिक्षकों की विशेष भूमिका रहती है। नई शिक्षा नीति के बेहतर क्रियान्वयन के लिए सभी शिक्षकों को पूरे मनोयोग से कार्य करने होंगे। यह महान कार्य तभी पूर्ण होगा जब नई शिक्षा नीति पूर्ण रूप से पूरे देश में लागू हो जाएगी। शिक्षा नीति को लागू करने के इस अभियान में हमारे शिक्षक पूर्ण उत्साह से कार्य कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड देश का प्रथम राज्य है जिसने स्कूली शिक्षा एवं उच्च शिक्षा दोनों में राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2022 को लागू किया है।
इस अवसर पर सांसद श्री लल्लू सिंह,एसजीटी विश्वविद्यालय के चांसलर श्री राम बहादुर राय, कुलपति प्रो.ओ.पी.कालरा, श्रीमती मधुप्रीत कौर चावला, श्री मनमोहन सिंह चावला, विश्वविद्यालय के अध्यापक एवं अन्य गणमान्य उपस्थित थे।आगेपढें
मुख्य सचिव डॉ. एस.एस. संधु ने बुधवार को सचिवालय में देहरादून शहर की यातायात समस्या के समाधान के लिए सभी सम्बन्धित विभागों के साथ विस्तृत चर्चा की। मुख्य सचिव ने अधिकारियों को निर्देश दिए कि देहरादून में ट्रेफिक कंजेशन को दूर करने के लिए सभी सम्बन्धित विभाग एक टीम बनाकर ट्रेफिक कंजेशन वाली सड़कों के लिए विशेष प्लान तैयार करें।
मुख्य सचिव ने जिलाधिकारी देहरादून को निर्देश दिए कि इस सम्बन्ध में टीम गठित कर यातायात की समस्या वाले स्थलों पर मौके पर जाकर क्षेत्रवार विशिष्ट योजना तैयार की जाए। जिला प्रशासन, एमडीडीए, नगर निगम, यातायात पुलिस और लोक निर्माण विभाग और उस सड़क का निर्माणकारी विभाग सभी से एक-एक सदस्य अवश्य शामिल हो ताकि मौके पर सम्बन्धित विभागों से जो भी सुझाव प्राप्त हों वे अमल में लाए जाने योग्य है या नहीं इसका भी मौके पर ही फैसला लिया जा सके।
मुख्य सचिव ने आरटीओ देहरादून द्वारा दिए सुझाव को भी धरातल पर उतारने के लिए सभी सम्बन्धित विभागों से सहयोग करने की बात कही। उन्होंने कहा कि अच्छे प्रस्तावों को धरातल पर उतारने के लिए हर सम्भव प्रयास किए जाने चाहिए, इसके लिए बजट की भी कमी नहीं होने दी जाएगी। उन्होंने कहा कि लोगों को सार्वजनिक वाहनों की सुगम उपलब्धता के साथ ही यातायात का एक ऐसा प्लान तैयार किया जाए कि आमजन को विश्वास हो कि उसे देहरादून में कहीं भी जाने के लिए 100, 200 मीटर से ज्यादा पैदल नहीं जाना पड़ेगा। लोगों को विश्वास हो कि उन्हें कहीं भी जाने के लिए कुछ न कुछ मिल ही जाएगा और लोग अपने व्यक्तिगत वाहनों को घर पर छोड़ कर सार्वजनिक अथवा प्राईवेट यातायात सुविधा के माध्यमों पर विश्वास कर सकेंगे। इससे शहर के यातायात पर पड़ने वाला दबाव निश्चित रूप से कम होगा। उन्होंने इसके लिए शहर के ट्रेफिक प्लान को मजबूत करते हुए उस क्षेत्र की भौगोलिक स्थिति के अनुरूप वन-वे, डायवर्जन और पार्किंग आदि की व्यवस्था सुनिश्चित करके ट्रेफिक सिस्टम विकसित किए जाने की भी जरूरत बतायी।
इस अवसर पर अपर मुख्य सचिव श्री आनन्द बर्द्धन, प्रमुख सचिव श्री आर.के. सुधांशु, सचिव श्री दीपेन्द्र चौधरी एवं जिलाधिकारी देहरादून श्रीमती सोनिका सहित सम्बन्धित विभागों के उच्चाधिकारी उपस्थित थे।आगेपढें
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने नई दिल्ली में केंद्रीय मंत्री, भारी उद्योग मंत्रालय श्री महेन्द्र नाथ पाण्डेय से मुलाकात कर उत्तराखंड में औद्योगिक विकास के लिये मिल रहे केंद्र सरकार के सहयोग के लिए आभार व्यक्त किया।
मुख्यमंत्री ने केंद्रीय मंत्री से राज्य में इलैक्ट्रॉनिक चार्जिंग स्टेशन जल्द बनाने के लिए अनुरोध किया। उत्तराखंड में इलेक्ट्रिकल व्हीकल्स एवं बैटरी उत्पाद में निवेश के लिए सहायता का अनुरोध किया। साथ ही ऑटोमोटिव उद्योग में नवाचार और नई तकनीक पर शोध एवं प्रोत्साहन के लिए उत्तराखंड में इंडस्ट्री पार्टनर के साथ सेंटर ऑफ एक्सीलेंस शुरू करवाने का आग्रह किया ताकि प्रदेश में दक्षता विकास, औद्योगिक विकास के साथ साथ औद्योगिक निवेश भी आये। राज्य में निवेश बढ़ने से रोज़गार सृजन के अवसर बढ़ेंगे ।
केंद्रीय भारी उद्योग मंत्री श्री महेंद्र नाथ पांडेय ने राज्य में औद्योगिक विकास के लिए केंद्र सरकार से हर संभव सहयोग के प्रति आश्वस्त किया।आगेपढें
कोविड पर प्रभावी नियंत्रण के लिए राज्य में बूस्टर डोज लगाने के लिए अभियान चलाया जाए- मुख्यमंत्री*
*कल से ही बूस्टर डोज लगाने के लिए कैम्प शुरू किये जाएं।*
*कोविड के नये मामले आने पर उनकी जीनोम सिक्वेंसिंग कराई जाए।*
*सभी जनपदों में कन्ट्रोल रूम सक्रिय किये जाएं।*
*कोविड पर प्रभावी नियंत्रण के लिए मुख्यमंत्री ने सचिवालय में ली बैठक।*
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरूवार को सचिवालय में बैठक लेते हुए अधिकारियों को निर्देश दिये कि कोविड-19 पर प्रभावी नियंत्रण के लिए राज्य में बूस्टर डोज लगवाने का अभियान चलाया जाए। बूस्टर डोज लगवाने के लिए कल से ही कैम्प लगाना शुरू करें। जनपदों में बूस्टर डोज के लिए कैम्प लगाए जाएं। सभी जनपदों में कंट्रोल रूम सक्रिय किये जाएं। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड के जो भी नये मामले आयेंगे, उनकी जीनोम सिक्वेंसिंग भी कराई जाए।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि बूस्टर डोज लगाने के लिए लोगों को प्रेरित किया जाए। इसका विभिन्न माध्यमों से व्यापक स्तर पर प्रचार प्रसार भी किया जाए। उन्होंने मुख्य सचिव को कोविड की नियमित समीक्षा करने के निर्देश भी दिये। मुख्यमंत्री ने कहा कि कोविड बूस्टर डोज की जितनी आवश्यकता है, शीघ्र केन्द्र सरकार को डिमांड भेजी जाए। सभी आवश्यक संसाधनों की पूर्ण उपलब्धता रखी जाए।
स्वास्थ्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने बैठक में वर्चुअल प्रतिभाग किया। उन्होंने कहा कि बूस्टर डोज पर सबसे अधिक ध्यान दिया जाए। उन्होंने कहा की राज्य में कोविड की प्रथम एवं द्वितीय डोज लगभग शत प्रतिशत लोगों को लग चुकी है। बूस्टर डोज के लिए व्यापक स्तर पर अभियान चलाया जाएगा।
बैठक में मुख्य सचिव डॉ. एस.एस. संधु, अपर मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी, डीजीपी श्री अशोक कुमार, सचिव श्री रंजीत सिन्हा, डॉ. आर. राजेश कुमार, श्री विनोद कुमार सुमन, अपर सचिव श्रीमती अमरदीप कौर एवं स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी उपस्थित थे।आगेपढें
प्रशासन द्वारा शीतलहर से आम जनमानस के बचाव के लिए हर संभव व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जा रही है। प्रत्येक जनपद को शीतलहर से बचाव हेतु आवश्यक व्यवस्थाएं जुटाने हेतु 10 लाख रूपये का अतिरिक्त बजट दिया जा रहा है। शीतलहर से जरूरतमंदो के बचाव एवं सहायता हेतु धन की कमी से व्यवस्थाएं बाधित न होने के स्पष्ट निर्देश सचिव आपदा प्रबन्धन डा0 रंजीत कुमार सिन्हा ने गुरूवार को सचिवालय में राज्य के सभी जिलाधिकारियों को दिए हैं। सचिव आपदा प्रबन्धन ने राज्य के समस्त जिलाधिकारियों तथा एस0डी0आर0एफ0, वन विभाग, खाद्य आपूर्ति, चिकित्सा, मौसम विभाग, जल संस्थान, कृषि विभाग, पशुपालन विभाग तथा यूपीसीएल के अधिकारियों के साथ प्रदेश में शीतलहर से आमजन एवं पशुओं के बचाव हेतु तैयारियों की समीक्षा की।
सचिव आपदा प्रबन्धन ने जिलाधिकारियों को सभी तहसीलों में अस्थायी रैनबसेरों की व्यवस्था सुनिश्चित करने, रैन बसेरों में समस्त मूलभूत सुविधाएं बिजली, पेयजल, शौचालय, बिस्तर तथा हीटर की व्यवस्था करने, जिलों में पर्याप्त मात्रा में अलाव जलाने की व्यवस्था, कंबल वितरण, दुर्गम व दूरस्थ क्षेत्रों में पर्याप्त मात्रा में राशन आपूर्ति, दवाईयों, पशुओं के चारे, चिकित्सा सुविधाओं की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं।
सचिव आपदा प्रबन्धन ने वन निगम को अलाव जलाने हेतु पर्याप्त मात्रा में लकड़ी की आपूर्ति के भी निर्देश दिए। उन्होंने पीडब्ल्यूडी को बर्फबारी के कारण बन्द होने वाली सड़कों पर पहले से ही आवश्यक उपकरण तथा कार्मिक तैनात करने को कहा। इसके लिए जेसीबी तथा स्नो कटिंग मशीनों व्यवस्था की जा रही है। इसके साथ ही लोक निर्माण तथा परिवहन विभाग को सख्त निर्देश दिए गए है कि राज्य में पाले तथा कोहरे के कारण किसी भी प्रकार की दुर्घटना नही होनी चाहिए। इसके लिए पाले को हटाने के लिए नमक एवं चूने का नियमित छिड़काव तथा कोहरे से बचाव हेतु फॉग लाइट व रिफलेक्टर की व्यवस्था की जाए। इसके साथ ही लोक निर्माण विभाग को स्नो ब्लोवर की आपूर्ति का प्रस्ताव बनाकर जल्द से जल्द शासन को भेजने के निर्देश भी दिए गए हैं।
सचिव आपदा प्रबन्धन ने सभी जिलाधिकारियों एव उपजिलाधिकारियों को जनपदों में शीतलहर से बचाव की व्यवस्थाओं के निरीक्षण हेतु नियमित रात्रि गश्त के निर्देश दिए हैं। उन्होंने राज्य में भारी बर्फबारी वाली टैªक रूट बन्द करवाने के भी निर्देश दिए। सचिव आपदा प्रबन्धन ने यूपीसीएल को शीतलहर एवं बर्फबारी के दौरान दूरस्थ क्षेत्रों में बिजली की नियमित आपूर्ति सुनिश्चित करने हेतु पर्याप्त मात्रा में स्पेयर पार्टस, डिसेन्ट्रलाइज इन्वेन्टरी तथा कुशल कार्मिक की तैनाती के निर्देश दिए।
इस अवसर पर निदेशक मौसम विभाग श्री बिक्रम सिंह, अन्य वरिष्ठ अधिकारी तथा विडियो कॉन्फ्रेसिंग के माध्यम से सभी जिलो के जिलाधिकारी उपस्थित थे। आगेपढें
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरूवार को उत्तराखण्ड पुलिस मुख्यालय देहरादून में ‘‘ उत्तराखण्ड पुलिस मंथन- चुनौतियाँ एवं समाधान’’ की थीम पर आयोजित कार्यक्रम का शुभारंभ किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखण्ड पुलिस को स्मार्ट एवं सशक्त बनाने के लिए फिटनेस और परसेप्शन मैनेजमेंट पर विशेष ध्यान देना होगा। उन्होंने आशा व्यक्त की कि उत्तराखण्ड पुलिस के इस तीन दिवसीय मंथन में राज्य में कानून और व्यवस्था को और मजबूत बनाने एवं जन सरोकारों से जुड़े मामलों पर भी मंथन होगा। इससे आमजन के साथ पुलिस को बेहतर समन्वय बनाने में भी मदद मिलेगी, मुख्यमंत्री ने कहा कि देवभूमि उत्तराखण्ड को 2025 तक नशा मुक्त बनाने का लक्ष्य रखा गया है, इसमें पुलिस की भी महत्वपूर्ण भूमिका रहेगी। उन्होंने कहा पुलिस द्वारा समय-समय पर स्वच्छता अभियान भी चलाया जाए और लोगों को इसके प्रति जागरूक भी किया जाए।
मुख्यमंत्री ने कहा कि 2023 में पुलिस कांस्टेबल के एक हजार पदों पर भर्ती की जायेगी। जिन 1521 पुलिस कांस्टेबलों के भर्ती प्रक्रिया गतिमान है, उनकी भर्ती प्रक्रिया पूर्ण होने तक 1521 पीआरडी जवानों द्वारा अस्थाई सेवा भी प्रदान की जायेगी। अल्मोड़ा एवं श्रीनगर महिला थाना में साइबर थाने की व्यवस्था भी की जायेगी। उन्होंने कहा कि पुलिस के जवानों के लिए बनाये जाने वाले चरणबद्ध तरीके से प्रस्ताव बनाये जाएं।
मुख्यमंत्री ने कहा कि पुलिस के आधुनिकीकरण के लिए आधुनिक तकनीक पर अधिक ध्यान दिया जाए। साइबर क्राइम को रोकने के लिए और प्रयासों की जरूरत है। उन्होंने कहा कि कानून का पालन करने वालों के साथ मित्र पुलिस की तरह व्यवहार किया जाए। यदि कोई कानून व्यवस्थाओं को बिगाड़ने का प्रयास करते हैं, तो ऐसे लोगों पर सख्त कारवाई भी की जाए। उन्होंने कहा कि बाहरी लोगों के सत्यापन का अभियान लगातार चलाया जाए। भ्रष्टाचार करने वालों पर भी सख्त कारवाई की जाए। ट्रैफिक व्यवस्थाओं का बेहतर संचालन किया जाए। जन शिकायतों का त्वरित निस्तारण किया जाए। नो पेंडेंसी के आधार पर कार्य किये जाएं। महिला सुरक्षा एवं महिला सशक्तिकरण की दिशा में विशेष ध्यान दिया जाए। उन्होंने कहा कि सभी अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि लोगों के फोन कॉल रिसीव करें, यदि किसी बैठक में व्यस्त हैं, तो बाद में कॉल कर जानकारी लें। कोविड एप्रोप्रियेट बिहेवियर के लिए लोगों को जागरूक किया जाए।
मुख्यमंत्री ने पुलिस के अधिकारियों को निर्देश दिये कि पुलिस द्वारा जनहित में जो भी कार्य किये जा रहे हैं, उनका सही तरीके से प्रस्तुतीकरण भी किया जाए। उन्होंने कहा कि पुलिस अधिकारी अपने जवानों का मनोबल बढ़ाने के लिए उनके बेहतर कार्यों पर उन्हें प्रोत्साहन भी दें। जवानों के लिए हर संभव सुविधाएं उपलब्ध कराने के प्रयास किये जाएं। उन्होंने कहा कि पुलिस व्यवस्थाओं में सुधार के लिए सरकार द्वारा पूरा सहयोग दिया जायेगा।
अपर मुख्य सचिव श्रीमती राधा रतूड़ी ने कहा कि महिला सुरक्षा के लिए गौरा शक्ति एप पर अभी तक 45 हजार से अधिक पंजीकरण हो चुके हैं। इसकी नियमित मॉनेटरिंग भी की जा रही है। महिला एवं बाल अपराधों में कन्विक्शन रेट बढ़ाने की दिशा में प्रयास किये जा रहे हैं। उत्तराखण्ड को नशा मुक्त राज्य बनाने, भिक्षावृत्ति को रोकने के लिए लगातार प्रयास किये जा रहे हैं। राज्य में कानून और व्यवस्था के सुधारीकरण की दिशा में निरन्तर प्रयास किये जा रहे हैं।
पुलिस महानिदेशक श्री अशोक कुमार ने कहा कि राष्ट्रीय स्तर पर सम्पत्तियों की बरामदगी के एसडीजी इंडेक्स में उत्तराखण्ड सर्वोत्तम है। कानून व्यवस्था की मजबूती पर पुलिस द्वारा लगातार कार्य किये जा रहे हैं। यूकेएसएसएससी भर्ती घोटाले में 54 लोगों को गिरफ्तार किया गया। अपराधियों पर शिकंजा कसा जा रहा है। आपरेशन क्राइम ड्राइव चलाया जा रहा है। 2022 में जघन्य अपराधों डकैती एवं बलात्कार का शत प्रतिशत अनावरण किया गया है। पुलिस के आधुनिकीकरण के लिए लगातार प्रयास किये जा रहे हैं।
इस अवसर पर एडीजी श्री पी.वी.के प्रसाद, श्री अमित कुमार सिन्हा, श्री वी. मुरूगेशन, आईजी श्री ए.पी अंशुमन, श्रीमती विम्मी सचदेवा,श्री केवल खुराना, श्रीमती बिमला गुंज्याल श्रीमती रिद्धिम अग्रवाल, श्रीमती नीरू गर्ग एवं पुलिस के अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।आगेपढें
देहरादून
मुख्य सचिव डॉ.एस.एस. संधु की अध्यक्षता में गुरुवार को कृषि अवसंरचनात्मक कोष की राज्य स्तरीय निगरानी समिति की बैठक संपन्न हुई। मुख्य सचिव ने अधिकारियों को इस योजना को बढ़ावा दिए जाने के निर्देश देते हुए पैक्स के मजबूतीकरण और जीवंत बनाने के लिए योजना तैयार करने के निर्देश दिए।
मुख्य सचिव ने कहा कि दूरस्थ क्षेत्रों को प्राथमिकता पर रखा जाए। अच्छा काम कर रहे पैक्स को कुछ न कुछ इंसेंटिव दिया जाए ताकि वे और अच्छा करने को प्रेरित हों। उन्होंने कहा कि पैक्स के लिए ट्रेनिंग मॉड्यूल भी विकसित किया जाए। इसके लिए पोर्टल तैयार किया जाए। साथ ही ऑफलाइन पेनड्राइव आदि के माध्यम से सभी प्रकार की ट्रेनिंग मैटेरियल उपलब्ध कराया जाए।
मुख्य सचिव ने कहा कि इस वित्तीय वर्ष के लिए नाबार्ड द्वारा पूर्व से स्वीकृत 785 करोड़ रुपए प्रयोग करने हेतु शीघ्र प्रस्ताव तैयार किए जाएं। साथ ही नाबार्ड के माध्यम इस योजना में 2000 करोड़ रुपए तक का 1 प्रतिशत पर लोन लिया जा सकता है। इससे अधिक से अधिक प्रयोग किया जाना चाहिए।
इसके उपरांत मुख्य सचिव ने सहकारिता विभाग के तहत् विभिन्न फर्टिलाइजर्स, मिनी बैंक और कृषि गतिविधियों के लिए निरीक्षण की व्यवस्था सुनिश्चित किए जाने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि सरकारी ऑडिट की व्यवस्था भी इसके लिए सुनिश्चित की जाए। साथ ही इसमें भ्रष्टाचार को रोकने के लिए कॉपरेटिव सोसायटी और बैंकों में जिला स्तरीय अधिकारियों को भी शामिल किया जाए। सहकारी क्षेत्र में डाटा सेंटर अलग से तैयार करने के बजाय राज्य सरकार के डाटा सेंटर को ही प्रयोग किया जाए।
इस अवसर पर सचिव श्री बी.वी.आर.सी. पुरुषोत्तम सहित अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने गुरुवार को ऋषिकेश स्थित डी.एस.बी. इंटरनेशनल पब्लिक स्कूल के वार्षिकोत्सव समारोह में प्रतिभाग किया। उन्होंने विद्यालय के छात्र छात्राओं के उज्जवल भविष्य की कामना करते हुए विद्यार्थियों को अपने जीवन का लक्ष्य निधार्रित करने तथा अथक परिश्रम के साथ जीवन में सफलता हासिल करने को कहा। विद्यार्थी अपने सपनों को साकार कर अपनी कामयाबी से शिक्षकों, परिजनों के साथ प्रदेश का मान सम्मान बढ़ाने का प्रयास करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सनातन संस्कृति व हमारे साधु-संत “सर्वे भवन्तु सुखिनः “ के सिद्धांत की प्रेरणा देते हैं। संत केवल कार्य से ही नहीं, अपितु अपने आचरण से भी समाज को शिक्षा और दृष्टि प्रदान करते हैं। सन्तों का जीवन परोपकार के लिए होता है। समाज को सही राह दिखाना ही संतों ने अपना धर्म माना है।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी जी द्वारा 2007 में स्थापित यह स्कूल आज शिक्षा के क्षेत्र में नए आयाम प्राप्त कर रहा है। उन्होंने ब्रहमलीन देवेन्द्र स्वरूप ब्रह्मचारी के जीवन को लोक कल्याण के लिए समर्पित बताते हुए कहा कि स्नेह, आत्मीयता व परोपकार उनकी जीवनशैली थी।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि श्री जयराम जी से लेकर श्री देवेन्द्र स्वरूप ब्रह्मचारी जी का पूरा जीवन लोक कल्याण और समाज सेवा के लिए समर्पित रहा है। श्री ब्रह्मस्वरूप ब्रह्मचारी अपने गुरूओं के संकल्पों को पूर्ण करने के लिए समर्पित भाव से सेवा कार्य में लगे हैं। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने ब्रह्मलीन देवेंद्र स्वरूप ब्रह्मचारी की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की तथा शहीदों के परिजनों को शॉल भेंटकर सम्मानित भी किया। मुख्यमंत्री ने छात्र-छात्राओं द्वारा प्रस्तुत सांस्कृतिक कार्यक्रमों की भी सराहना की तथा उन्हें शुभकामनाएं दी।
इस अवसर पर मेयर अनीता मंमगाई, ब्रह्म स्वरूप ब्रह्मचारी महाराज, महामंडलेश्वर रामेश्वरानंद, श्री टी.के शर्मा, प्रिंसिपल डीएसबी शिव सहगल एवं अन्य लोग मौजूद रहे।आगेपढें
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर प्रदेश के सभी 13 जनपदों में विकास कार्यो की समीक्षा और शासन तथा जनपद के मध्म यथाआवश्यक समन्वय स्थापित किए जाने के लिये
प्रमुख सचिव / सचिवों को जनपद प्रभारी नामित किया गया है।
मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी गुरुवार को श्री भरत मंदिर ऋषिकेश में आयोजित श्रीमद् भागवत कथा में शामिल हुए। उन्होंने व्यास पीठ पर विराजमान श्री कमलदास वेदांती से आशीर्वाद प्राप्त कर प्रदेश की खुशहाली की भी कामना की।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जिसके भाव में भगवान होते हैं उन्हें भागवत कथा श्रवण का अवसर मिल जाता है। उन्होंने कहा कि आज देश में धर्म व संस्कृति को बढ़ावा देने के साथ ही हमारे धार्मिक स्थलों में उत्सव का दौर प्रारम्भ हुआ है। उन्होंने कहा कि हमारे संतों ने समाज को सही राह दिखाने का मार्ग प्रशस्त किया।
इस अवसर पर मेयर अनीता ममगाईं, भरत मंदिर के महंत वत्सल प्रपन्नाचार्य आदि उपस्थित थे।