देहरादून,जसवंत सिंह जंगपांगी ने कहा कि हिमालयन आदी वासी की समस्याओं को प्रधानमंत्री नरेन्द्र भाई मोदी जी ने उठा लिया है। मैं आदिवासियों की ओर से मोदी जी का आभार व्यक्त करता हूं कि उन्होंने आदिवासियों का हर मामले का संज्ञान तुरंत लिया है।और ले रहे हैं उन्होंने हिमालयन आदिवासियों का चोला पहनकर केदारनाथ में बाबा का ध्यान किया है।
और यह पत्र माह राणा प्रताप के वंशज कहे जाने वाले
घुमंतू खानाबदोश विमुक्त जनजाति के आवेदन को शीघ्र कार्यवाही करने के लिए अध्यक्ष मूगी देवी ने दिया था उन्होंने एक्सेप्ट करके उत्तराखंड सरकार के मुख्य सचिव को आदेशित किया है । जंगपांगी ने कहा कि पहले के शासनकाल में कांग्रेस के मुख्यमंत्री हरीश रावत,और प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह कार्य वाही करते तो आज उत्तराखंड के विलुप्त होने वाले आदिवासी मानव 12,14 साल की उम्र के गगन सिंह, जगत सिंह अजीवन कारवास की सजा नहीं काटते। यूएन चार्टर से भारत सरकार के विशेष नियम प्रोडक्शन ऑफ सब ओरिजिनल ट्रवल्स से सेटेनली और जाखा, अंडमान निकोबार की तरह संरक्षित हिमालयन, हिमालय आदिवासी मानव की रक्षा के लिए जनपद पिथौरागढ़ बाल संरक्षण आयोग को अजय सेतिया अध्यक्ष पूर्व बाल संरक्षण अयोग ने भी छोड़े ने के आदेश दिये पर सरकार द्वाराा नहीं छोड़ दिया गया था जंग पांगी ने कहा कि अब लगता है कि प्रधानमंत्री मोदी जी न्याय करायेंगे। उत्तराखंड सरकार के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के शासन से दृढ़ इच्छा शक्ति से कार्यवाही कर शीघ्रता शीघ्र विलुप्त होने वाली जन जाति के बालको छुड़ाने केे लिए मानवीय दृष्टिकोण रखते हुए कार्यवाही करने का आदेश देेने की जंगपांगी अपेक्षा करते हैं।अब देखना है कि सरकार प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी के पत्र पर कितने समय में कार्यवाही होती है