देहरादून। महाराष्ट्र के सियासी ड्रामे पर पूरे देश की नजर है। इस पूरे विवाद की धुरी महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी बने हुए हैं। जिन्हें सियासत का मंझा हुआ खिलाड़ी माना जाता है। कोश्यारी मूल रूप से उत्तराखंड के बागेश्वर के नामती चेटाबगड़ के रहने वाले हैं लेकिन वर्तमान में उनका निवास स्थान पिथौरागढ़ है। इस कारण उनका नाम पिथौरागढ़ शहर की वोटर लिस्ट में भी शामिल है। जहां वो हर चुनाव में अपना वोट डालने आते रहे हैं। लेकिन इस बार महाराष्ट्र की राजनीति उठापटक के चलते पिथौरागढ़ उपचुनाव में वोट डालने नहीं पहुंच पाएं। गौर हो कि महाराष्ट्र के राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी का पिथौरागढ़ की सियासत में खासा दखल रहा है। उन्होंने लंबे समय इस क्षेत्र में राजनीति की है। मूलरूप से बागेश्वर के चेटाबगड़ के रहने वाले हैं। उनके राजनीतिक कद का इसी बात से अहसास लगाया जा सकता है कि प्रदेश की सियासत में हर चुनाव में उन्हें तवज्जो दी गई। जिस पर वे खरे भी उतरे। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से गहरे जुड़े रहे कोश्यारी की सादगी के लिए भी जाने जाते हैं। एक टाइम खिचड़ी खाने वाले कोश्यारी की राजनीति पर पैनी नजर और गहरी पैठ के चलते ही हाईकमान के नजदीकी नेताओं में शुमार किए जाते रहे हैं। वहीं उत्तराखंड के वित्त मंत्री प्रकाश पंत के असामयिक निधन से रिक्त हुई पिथौरागढ़ विधानसभा सीट पर आज उपचुनाव को लेकर मतदान है। जहां वे हर चुनाव में अपना वोट डालने आते रहे हैं। लेकिन इस बार महाराष्ट्र की राजनीति की उठा-पठक के चलते वे वोट डालने नहीं पहुंच पाएं। इस सीट पर कोश्यारी का खासा प्रभाव रहा है। उनका हलका मजाकिया मिजाज हर किसी को पसंद आता रहा है। वे विरोधियों पर भी अपने मजाकिया अंदाज में बाण चलाते रहे हैं।