मनी लॉन्ड्रिंग केस के सिलसिले में पूछताछ के लिए ईडी दफ्तर में पेश हुए रॉबर्ट वाड्रा
प्रियंका वाड्रा अपने पति को ईडी दफ्तर तक छोड़ने पहुंची थी, वहां से वह कांग्रेस दफ्तर पहुंची
अदालत ने वाड्रा की गिरफ्तारी पर 16 फरवरी तक के लिए रोक लगाई है
मनी लॉन्ड्रिंग के अलावा वाड्रा पर 2016 में हुई पेट्रोलियम डील में पैसे खाने के आरोप
नई दिल्ली :मनी लॉन्ड्रिंग केस के सिलसिले में कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा के पति रॉबर्ट वाड्रा से ईडी की पूछताछ चल रही है। इससे पहले, वाड्रा के साथ उनकी पत्नी प्रियंका वाड्रा भी ईडी दफ्तर पहुंचीं, हालांकि वह गेट से ही लौट गईं। ईडी की एक टीम वाड्रा का बयान दर्ज कर रही है। उनसे पूछताछ करने वाली टीम में ईडी के जॉइंट डायरेक्टर, डेप्युटी डायरेक्टर और 5 अन्य अधिकारी शामिल हैं। बता दें कि शनिवार को दिल्ली की एक अदालत ने वाड्रा की अग्रिम जमानत याचिका पर मनी लॉन्ड्रिंग केस में ईडी द्वारा उनकी गिरफ्तारी पर 16 फरवरी तक के लिए रोक लगा दी थी। अदालत ने वाड्रा को जांच में सहयोग करने का निर्देश देते हुए ईडी को उनसे 6 फरवरी को पूछताछ की इजाजत दी थी।
यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी के दामाद रॉबर्ट वाड्रा विदेश में कथित तौर पर अवैध संपत्ति रखने के सिलसिले में मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े एक मामले में बुधवार को प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के समक्ष पेश हुए। वाड्रा की पत्नी प्रियंका वाड्रा सफेद टोयोटा लैंड क्रूजर गाड़ी में उनके साथ थीं और उनके पीछे एसपीजी के सुरक्षाकर्मियों की गाड़ियां थीं। उन्होंने वाड्रा को मध्य दिल्ली के जामनगर हाउस स्थित एजेंसी के दफ्तर के सामने छोड़ा और वहां से फौरन अपनी गाड़ियों के काफिले के साथ रवाना हो गईं।
वाड्रा करीब 3 बजकर 47 मिनट पर ईडी के दफ्तर में दाखिल हुए। उनके वकीलों का एक दल पहले ही वहां पहुंच चुका था। यह पहला मौका है जब कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के जीजा वाड्रा संदिग्ध वित्तीय लेन-देन के आपराधिक आरोपों के सिलसिले में किसी जांच एजेंसी के समक्ष पेश हुए हैं। वाड्रा ने पहले इन आरोपों से इनकार किया था और कहा था कि राजनीतिक बदले के लिये उनके खिलाफ यह कार्रवाई की जा रही है। दिल्ली की एक अदालत ने वाड्रा को केंद्रीय जांच एजेंसी से सहयोग करने को कहा था। वाड्रा ने मामले में अग्रिम जमानत के लिए अदालत का दरवाजा खटखटाया था। अदालत ने उनसे विदेश से लौटने के बाद बुधवार को ईडी के समक्ष पेश होने के कहा था।
मनी लॉन्ड्रिंग का यह केस लंदन स्थित एक प्रॉपर्टी की खरीदारी से जुड़ा है। वाड्रा के करीबी सहयोगी कहे जाने वाले सुनील अरोड़ा के खिलाफ ईडी ने मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज किया है। इस मामले में अरोड़ा को कोर्ट से 16 फरवरी तक के लिए गिरफ्तारी से अंतरिम राहत मिल चुकी है। यह मामला लंदन के 12, ब्रायनस्टन स्क्वेयर स्थित 19 लाख पाउंड (करीब 17 करोड़ रुपये) की एक प्रॉपर्टी की खरीदारी में कथित मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़ा हुआ है। ईडी का दावा है कि इस संपत्ति के असल मालिक रॉबर्ट वाड्रा हैं। कोर्ट में ईडी ने यह भी दावा किया कि वाड्रा और उनके सहयोगियों को 2009 में हुई पेट्रोलियम डील में भी पैसे मिले थे।
ईडी ने कोर्ट में कहा है कि लंदन स्थित फ्लैट को भगोड़े डिफेंस डीलर संजय भंडारी ने 16 करोड़ 80 लाख रुपये में खरीदा था। ईडी के मुताबिक मरम्मत के लिए इस पर 65,900 पाउंड का अतिरिक्त खर्चा होने के बावजूद भंडारी ने 2010 में इसी कीमत पर इसकी बिक्री वाड्रा के नियंत्रण वाली फर्म को कर दी। भंडारी के खिलाफ ऑफिशल सीक्रेट ऐक्ट के तहत 2016 में मुकदमा दर्ज किया था।