समलैंगिक संबंध के लिए दबाव डालने पर छात्रा ने की खुदकुशी

Pahado Ki Goonj
जींद। करनाल में गुरुकुल में आत्महत्या करने वाली 11वीं की छात्रा पर उसकी दो सहेलियां समलैंगिक संबंध बनाने के लिए दबाव बना रही थी। इससे परेशान छात्रा ने आत्महत्या कर ली। यह आरोप छात्रा के पिता ने लगाए हैं। उनके मुताबिक, पानीपत के मांडी निवासी दो बहनें छात्रा पर समलैंगिक संबंध बनाने का दबाव बनाती थीं।

छात्रा के पिता ने बताया कि घटना से एक दिन पहले की रात भी दोनों ने दबाव बनाया और मना करने पर मारपीट की। उसने सुबह अपनी बड़ी बहन को इस बारे में बताया था। बड़ी बहन कक्षा से लौटकर प्रिंसिपल से शिकायत करने वाली थी, लेकिन इससे पहले ही अनु ने आत्महत्या कर ली। बता दें कि बल्ला के मोरमाजरा गांव स्थित आर्य कन्या गुरुकुल एवं संस्कृत महाविद्यालय में छात्रा ने शुक्रवार को पंखे से लटककर फांसी लगा ली थी। बड़ी बहन के बयान पर गुरुकुल की ही दो छात्राओं के खिलाफ आत्महत्या के लिए उकसाने का मामला दर्ज किया गया है। छात्रा के पिता ने बताया कि आरोपी छात्राएं काफी समय से उसे टार्चर कर रही थीं। 10-15 दिन पहले भी ब्लेड मारकर उसे जख्मी कर दिया था। इसका पता चलने पर वह दोनों बेटियों को घर ले आए थे। उन्होंने घटना के बारे में पूछा भी, लेकिन उसने भय के चलते कुछ नहीं बताया। पिछले रविवार को वह दोनों को हॉस्टल में छोड़कर आए थे।
छात्रा के पिता ने बताया, बेटी ने कहा था कि उसका इस कमरे में मन नहीं लगता और बदलवा दीजिए। इसके बाद उन्होंने बहन के कमरे में ही उसे शिफ्ट करा दिया था। उसकी बहन भी यहीं पढ़ती थी और हॉस्टल में रहती थी। छात्रा के पिता ने बताया कि वह पढ़ाई में काफी होशियार थी और वह डॉक्टर बनना चाहती थी। दादा ने भरी आंखों से बताया कि वह इस बार आई थी तो कहा था कि परीक्षा में 90 फीसद नंबर लेकर आऊंगी। पूरे परिवार को उससे काफी उम्मीदें थीं। छात्रा के आत्महत्या के पीछे समलैंगिक संबंध का दबाव बनाए जाने के आरोप से गुरुकुल में सनसनी फैल गई। कॉलेज प्रबंधन ने तीन सदस्यीय जांच कमेटी गठित कर दी है। इसमें गुरुकुल स्कूल की प्रिंसिपल मधुर लता मान, एजुकेशन कॉलेज की प्रिंसिपल डॉ. विदूषी व डिग्री कॉलेज के प्रिंसिपल दिलबाग सिंह को शामिल किया गया है। कमेटी को तीन दिन में रिपोर्ट देने को कहा गया है।
दूसरी ओर, बल्ला चौकी इंचार्ज लखविंद्र सिंह महिला पुलिस के साथ शनिवार को गुरुकुल पहुंचे। चौकी इंचार्ज ने बताया कि हॉस्टल में छात्रा के साथ रह रही अन्य छात्राओं के भी बयान दर्ज किए गए हैं। अब तक की जांच में समलैंगिकता जैसे आरोपों की पुष्टि नहीं होती है। गुरुकुल प्रबंधन समिति के अध्यक्ष सूरजमल बांगड़ ने कहा कि खुदकुशी करने वाली छात्रा और उसकी बहन ने प्रबंधन कमेटी व वार्डन को कभी कोई शिकायत दर्ज नहीं कराई। जिन छात्राओं पर आरोप लगाए जा रहे हैं, वे स्कूल गुरुकुल के हॉस्टल में रहती हैं, जबकि छात्रा व उसकी बड़ी बहन कालेज के हॉस्टल में रह रही थीं। उधर, आत्महत्या मामले में आरोपी छात्राओं के पिता का कहना है कि उनकी बेटियां ऐसा नहीं कर सकतीं। वह गांव के 70 लोगों के साथ गुरुकुल प्रशासन और असंध थाना प्रभारी से मिले थे, ताकि निष्पक्ष जांच हो सके।
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